सुनो...
जो हो बुरे हालात मेरे
ले जाना मुझे उन तारों के बीच
रख कर मेरे सर को अपने कांधे पे
सुना देना मुझे लफ्ज़ तेरे

सुनो...
इतना करोगी ना
मेरे बिन कहे मेरे करीब आओगी ना
साथ मिलकर हमारे सपनों का आशियां सजाओगी ना

कभी मैं तो कभी तुम
साथ मिलकर एक दूजे का बोझ उठाएजायेंगे
जब तुम दिन मररा के कामों से थक जाया करोगी
तुम्हे मैं लोरियां गा कर सुला दिया करूंगा
तुम मुझे चाय पिला कर जगा दिया करना

सुनो...
इतना साथ दोगी ना
मेरे बिन कहे मेरे इतने करीब आओगी ना
उम्र भर मेरा साथ निभाओगी ना

सुनो...
मेरे बिन कहे मेरे थोड़ा और करीब आओगी ना।